Hackers Group Targeted India: क्लाउडसेक द्वारा बताया गया है कि अप्रैल महीने में Hacking संघर्षों में 35 प्रतिशत की वृद्धि हुई। मई में थोड़ी कमी आई, लेकिन जून में भी इसी प्रकार की समस्याओं की बढ़त देखी गई।
साइबर सुरक्षा फर्म क्लाउडसेक की एक रिपोर्ट के अनुसार, विश्वभर के हैकर्स का पहला लक्ष्य भारत है। 2023 की पहली तिमाही में भारत में सबसे अधिक हैकिंग की घटनाएं हुई हैं, इसमें शामिल है वह समय जब दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान के सर्वर को हैक किया गया था।
क्लाउडसेक के दावे के अनुसार, इन हमलों के पीछे धार्मिक कारण छिपे हैं और हैकर्स ने एक विशिष्ट पैटर्न का उपयोग करके सरकारी और निजी संस्थाओं को लक्ष्य बनाया है। यह जानकर आपको सूचित कर दें कि भारत के अतिरिक्त, कई अन्य देशों को भी हैकर्स ने अपना लक्ष्य बनाया है, जिनके पीछे राजनीतिक और धार्मिक वजह होते हैं
विश्वभर में 67 देशों को किया हमला
क्लाउडसेक द्वारा बताया गया है कि अप्रैल में हैकिंग घटनाएं 35% बढ़ी। मई में कमी आई, लेकिन जून में भी ऐसे ही रुझान देखे गए। फर्म ने कहा है कि 2021 से 2023 तक हैकरों ने 67 देशों को निशाना बनाया।
आपको बताना चाहता हूँ कि हैकिंग के हमलों में भारत के बाद इज़राइल, पोलैंड, ऑस्ट्रेलिया, और पाकिस्तान भी शामिल हैं। इस सूची में अफ्रीका, एशिया, यूरोप, उत्तरी अमेरिका, दक्षिण अमेरिका, और ओशिनिया जैसे विभिन्न क्षेत्रों से कई और देश भी शामिल हैं।
देशों में किस प्रकार के संसाधनों पर हमला किया गया?
क्लाउडसेक की रिपोर्ट के अनुसार, हैकर्स ने गैर-लाभकारी, शिक्षा, ऑटोमोबाइल, वित्त और बैंकिंग, ऊर्जा-तेल और गैस क्षेत्र में सबसे अधिक साइबर हमले किए। रिपोर्ट में दिखाया गया कि इन हमलों में अक्सर डेटा को पुनः प्राप्त किया गया। हालांकि, इन साइबर हमलों से संगठनों को भी बड़ा नुकसान उठाना पड़ा।
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